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चिंपाजी मांएं भी करती हैं विलाप

लंदन। वैज्ञानिकों ने पहली बार इस बात की पुष्टि की है कि अपने मृत शिशु को देखकर चिंपाजी मांएं भी विलाप करती हैं। शोधकर्ताओं के मुताबिक़ चिंपाजी मांओं का अपने बच्चों से बहुत गहरा लगाव होता है और वे दो वर्ष के होने तक उन्हें अपने से चिपकाए रखती हैं। एक वीडियो में देखा गया है कि चिंपाजी मां अपने 16 माह के बच्चे की मौत के बाद विलाप कर रही है व उसे छाती से लगाए रहती है।
अमर उजाला, नई दिल्ली, 2 फ़रवरी 2011, P. 14

Comments

माँ की ममता पर्बत से ऊँची, माँ की ममता सागर से गहरी। आभार।
DR. ANWER JAMAL said…
एक शेर
मेरी भीगी हुई आँखों में अब ख़्वाब पलते हैं
कंवल के फूल जैसे झील के पानी में रहते हैं

Nice post.
vandana gupta said…
माँ तो माँ होती है फिर जानवर हो या इंसान भावनाये उनमे भी होती हैं।
Minakshi Pant said…
लबों पर उसके कभी बदुआ नहीं होती !
बस एक माँ है जो कभी खफा नहीं होती !
इस तरह वो मेरे गुन्हाओं को धो देती है !
माँ बहुत गुस्से मै होती है तो रो देती है !
Shikha Kaushik said…
bahut achchhi post .aabhar .
musaffir said…
sahi kaha. maa to maa hoti hai. chimpainji ke baare me mujhe pahle se pata nahi tha. par jab koi maa hoti hai to rup ek sa hi hota ha.
Shalini kaushik said…
बहुत सार्थक एवं सटीक बात कही है आपने.आभार..

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